चिड़िया का बच्चा
"टीना -तुम चॉकलेट ख़ाओगी?"
बड़ी बिल्डिंग के बाहर खुले मैदान में जहां कई बच्चे खेल रहे होते है-एक तरफ अकेली खेल रही 5 साल की टीना को बिल्डिंग में उनके पास वाले फ़्लैट में रहने वाले परिवार का सबसे छोटा बेटा सनी जो 17 साल का था-उसने पूछा।
"सनी भईया-आप दोगे चॉकलेट!"वह उछलते हुए अपने मिट्टी के हाथ फ्रॉक पर रगड़ते हुए जमीन से खड़ी हो जाती है।
"हाँ, चाहिए क्या?"वह पूछता है।
"हाँ-दो" वह अपना हाथ आगे कर देती है।
"यहां मेरे पास नहीं है-पर मैंने एक जगह छूपा दी है!"
"हूँ..मैं खेल रही हूँ" वह नीचे बैठ फिर से नीचे गिरे हुए चिड़िया के छोटे बच्चे को देखने लगती है ध्यान से-जो शायद मर चूका होता है और शायद किसी ने बेरहमी से इस पर पैर रख दिया था।वह उदास हो जाती है।
"अरे! मेरे पास बहुत सारी है-इतनी सारी डेयरी मिल्क वो भी" वह नीचे बैठकर, झुंझलाते हुए उसे दोनों हाथों से बताता है।
"तो दो!"वह थोड़ा खुश होते हुए बोलती है।हाथ फिर से आगे करती है।
"यहाँ नहीं है।"
"तो यहाँ ले आए!"वह एक तिनका उठाकर, चिड़िया के बच्चे को हिलाने की कोशिश करती है।
"नहीं मैं यहां नहीं ला सकता..बहुत सारी है!"फ़िर थोड़ा रुककर-
"तुम्हें मेरे साथ वहाँ जाना पड़ेगा-वहां छुपाई है मैंने-"वह उसका कंधा पकड़कर, बिल्डिंग के एक दूसरी तरफ खाली पड़े-गैराज की ओर इशारा करता है।
"रोहित,चिंकी,मिंटू-प्रीती सब आओ यहाँ.. सनी भईया हमें.." वह जोर से आगे और बोलने लगती है कि वह उसके मुँह पर कस कर हाथ रख देता है।
"चुप..बिल्कुल चुप!"
वह रोने को हो जाती है...सनी अपनी तरफ बच्चों का झुंड आते देख घबराकर, वहाँ से खिसक जाता है।
सब बच्चे अब गोल घेरा बनाए चिड़िया के उस नन्हे बच्चे को देख रहे होते है जो अब धीरे-धीरे हिल रहा होता है और उनकी तरफ टकटकी लगाए देख रहा होता है।